ये मेरे दोस्त - My Friends - Re Kabira 103

 -- o Re Kabira 103 o -- 

ये मेरे दोस्त
ये मेरे दोस्त 

ये पुराने दोस्त
वो सयाने दोस्त
हैं बड़े कमाल ये मेरे दोस्त
यादों में बसे, क़िस्सों से जुड़े, 
गुनगुनाते मुस्कुराते जहाँ चले झूमते चलें 

ये दीवाने दोस्त
वो मस्ताने दोस्त 
हैं परवाने ये मेरे दोस्त 
दूर हैं, पर लगते साथ हैं खड़े, 
मधुमक्खियों की तरह घेर मुझे चलें 

ये बेमिसाल दोस्त
वो बेफ़िक्र दोस्त 
हैं बेबाक ये मेरे दोस्त
जमाने से लड़ें, किसी की न सुने, 
हाथ में हाथ डाल गलियारों में चलें

ये कामयाब दोस्त 
वो मशहूर दोस्त
हैं दूर तक मा'रूफ़ ये मेरे दोस्त
ऊँचे पायदानों पे चढ़ें, आसमान में उड़े, 
जब हमारे साथ चले ज़मीन पर ये चलें 

ये नाज़नीं दोस्त 
वो हसीन दोस्त 
हैं दिलनशीं ये मेरे दोस्त 
मुग़ालते भलीं, खुशफ़हमी सही, 
(दोस्ती के) मुशायरे में जो शेर कल थे पढ़े वो आज भी चलें 

ये अनोखे दोस्त
वो आवारा दोस्त
हैं मतवाले ये मेरे दोस्त 
गालियों में सजें, कभी नालियों में गिरे, 
कुछ चले न चले इनके बतोले चलें

ये प्यारे दोस्त
वो निराले दोस्त 
हैं बावले ये मेरे दोस्त
कल हम रहे न रहे बात इनकी रहे, 
जिंदगी की खटारा साथ इनके चले 

ये मेरे दोस्त, 
वो हमारे दोस्त,
हैं लाज़वाब ये मेरे दोस्त
जब भी मिलें महफ़िलें सजे, शोर मचे जश्न मने यादें बुने, 
इनके चर्चे दूर -दूर तक चलें 

ये मेरे दोस्त, 
वो हमारे दोस्त,

ये मेरे दोस्त, 
वो हमारे दोस्त,
था मिलना ज़रूरी ऐ मेरे दोस्त 
क्या खूब मिले, लगा ज़िन्दगी से मिले, 
मिलते रहेंगे वादा कर अपनी राह हम चले

ओ रे कबीरा .. ये मेरे दोस्त .. वो हमारे दोस्त !!!


आशुतोष झुड़ेले
Ashutosh Jhureley
@OReKabira
 
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